रिपोर्ट नलिन दीक्षित
विदेश मंत्रालय बोला, हमारी छवि बिगाडऩे की कोशिश, एचएएल पर आरोप भ्रामक
भारत ने सोमवार को न्यूयॉर्क टाइम्स द्वारा प्रकाशित एक रिपोर्ट पर कड़ी प्रतिक्रिया दी, जिसमें दावा किया गया था कि हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) ने रूस को हथियारों की आपूर्ति करने वाली एक ब्लैकलिस्टेड एजेंसी को संवेदनशील तकनीकी उपकरण बेचे। भारतीय विदेश मंत्रालय ने इस रिपोर्ट को ‘तथ्यात्मक रूप से गलत और भ्रामक’ बताते हुए इसे राजनीतिक उद्देश्य से प्रेरित बताया। मंत्रालय ने आरोप लगाया कि रिपोर्ट ने जानबूझकर मुद्दों को विकृत किया और भारत की छवि को नुकसान पहुंचाने की कोशिश की।
विदेश मंत्रालय ने बयान जारी करते हुए कहा कि जो भारतीय कंपनी इस रिपोर्ट में उल्लेखित है। उसने अंतरराष्ट्रीय रणनीतिक व्यापार नियंत्रणों और एंड-यूजर प्रतिबद्धताओं का पूरी तरह से पालन किया है। मंत्रालय ने मीडिया संस्थानों से आग्रह किया कि वे किसी भी रिपोर्ट को प्रकाशित करने से पहले उचित जांच करें, जो इस मामले में नहीं की गई।
एचएएल को लेकर यह था विवाद
यह विवाद उस समय उठ खड़ा हुआ, जब न्यूयॉर्क टाइम्स ने 28 मार्च को अपनी रिपोर्ट में दावा किया कि ब्रिटिश एयरोस्पेस निर्माता एचआर स्मिथ गु्रप ने एचएएल के माध्यम से रूस को तकनीकी उपकरणों की आपूर्ति की थी। उनमें ट्रांसमिटर्स, कॉकपिट उपकरण और अन्य संवेदनशील हिस्से शामिल थे।
यह दावा किया गया कि इन उपकरणों को ब्रिटेन और अमरीका ने रूस को न बेचने के आदेश दिए थे।
रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि एचएएल ने एचआर स्मिथ से प्राप्त उपकरणों को रूस की एक ब्लैकलिस्टेड एजेंसी रोसोबोरोनएक्सपोर्ट को भेजा था। भारत ने इस मामले को लेकर स्पष्ट किया।